वैशाली में सुबह सात बजे से वोटिंग शुरू है। वैशाली में सुबह सात बजे से वोटिंग शुरू है। दोपहर 3 बजे तक 44.59% मतदान हुआ है। संसदीय क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे राजद प्रत्याशी शिवचंद्र राम ने अपने पूरे परिवार के साथ अपना वोट कास्ट किया। हाजीपुर की सड़कों पर चिराग पासवान खुद से गाड़ी चलाकर मतदाताओं से बात करते हुए दिखे। कहा कि बिहार में सभी सीट पर जीत रहे हैं। हाजीपुर में जीत रहे हैं।
बिदुपुर प्रखण्ड के माइल चौक स्थित बूथ संख्या 37 पर मतदान कर्मी ने एक महिला वोटर को मृत बताकर वोट डालने से मना कर दिया है। जबकि महिला जीवित है।
महिला वोटर दुखन पासवान की पत्नि मछिया देवी बताई है। वह अपने घर लौट आई। उसने कहा कि जब वोट डालने बूथ पर गए थे और मतदान केंद्र पर मौजूद कर्मीयों द्वारा मतदाता सूची से आधार कार्ड की मिलान की जा रही थी। तब बताया कि आप वोट नही डाल सकते हैं। महिला वोटर ने कहा कि मैं तो जिंदा हूं। मेरी मृत्यु नहीं हुई है, उसके बावजूद भी वोट डालने नहीं दिया गया।
बीएलओ मिथिलेश कुमार ने बताया कि महिला का नाम किसी कारण से कट गया होगा। वहां वोटर लिस्ट लगा हुआ है। महिला जाकर चेक करवाए उसके बाद वहां अधिकारी मौजूद देखकर बताएंगे यदि कट गया होगा तो डिलीट में नाम दिखाएगा। ASD लिस्ट में नाम होगा तो महिला वोट डाल सकती हैं। पुर्व से नाम कटा हुआ होगा तो इसमें क्या किया जा सकता है।

आरजेडी प्रत्याशी व बाहुबली पूर्व विधायक मुन्ना शुक्ला ने अपनी पत्नी अन्नू शुक्ला के साथ बूथ संख्या-4 पर मतदान किया।
जदयू प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा ने अपने गांव महनार विधानसभा क्षेत्र के कजड़ी बुजुर्ग स्थित बूथ संख्या-38 पर मतदान किया। वहीं, जदयू प्रदेश अध्यक्ष सुमित सिंह कुशवाहा ने पत्नी समेत पूरे परिवार के साथ वोट डाले।
हाजीपुर संसदीय क्षेत्र के छह विधानसभा क्षेत्र में मतदान करने के लिए लोग लाइन में खड़े हैं। महुआ आरजेडी विधायक मुकेश रोशन ने परिवार के साथ मतदान किया। वहीं, बैलगाड़ी पर सवार होकर मतदाता वोट करने आ रहे हैं।

वैशाली के बूथ नंबर- 274 कर्णपुरा में केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय वोट देने के लिए लाइन में खड़े हैं। उन्होंने कहा कि एनडीए पांच लाख वोटों से जीतेगी। पूरे देश में एक बार फिर मोदी की सरकार बनेगी।

बूथ नंबर 190 महुआ में मतदान के प्रति काफी उत्साह देखा जा रहा है। गोद में बच्चे लेकर पहुंची मुस्लिम महिलाएं सेंटर पहुंची। लाइन में खड़ी होकर वोट कास्ट करने का वेट कर रही हैं।


वोट देने आए लोगों ने कहा कि हम उसे ही वोट कर रहे जिससे देश का विकास हो। शिक्षा, रोजगार से लेकर तमाम सुविधा मिले। वहीं, फर्स्ट टाइम वोटर अंशिका सिंह ने कहा कि अच्छा लग रहा कि पहली बार वोट देने आई हूं। बिहार में पढ़ाई की नींव कमजोर है, चाहती हूं कि सरकार एजुकेशन डिपार्टमेंट पर काम करे।

वोट देने आए अधेड़ उम्र के मतदाता ने कहा कि मोदी जी नहीं रहेंगे तो देश का क्या होगा? वह प्रतिभाशाली प्रधानमंत्री हैं। बीते 10 साल से बहुत विकास हुआ है। आज भी विकास के नाम पर ही वोट डाला है।

1920 बूथों पर 1965804 मतदाता हैं, जो अपने-अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे।
वहीं, 934485 महिलाएं एवं 1031248 पुरुष हैं। हाजीपुर संसदीय क्षेत्र से कुल 14 प्रत्याशी चुनावी मैदान में हैं जबकि लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के चिराग पासवान और इंडिया गठबंधन के राजद उम्मीदवार शिवचंद्र राम के बीच सीधी टक्कर है।
हाजीपुर लोकसभा सीट……………..
गंगा और गंडक के किनारे बसे शहर हाजीपुर की पहचान देशभर में यहां के केले और आम से है। इसके अलावा यहां की एक पहचान रामविलास पासवान भी हैं। 1977 से लेकर लगातार 2019 तक इस सीट पर वही जीता है, जिसे रामविलास पासवान ने जिताना चाहा है। बीच में केवल दो बार 1984 और 2009 को छोड़ दें तो पिछले 47 सालों से लगातार उनका परिवार संसद में यहां का प्रतिनिधित्व करते आ रहा है।
इस बार पहली बार रामविलास पासवान के बेटे चिराग पासवान यहां से चुनाव लड़ रहे हैं। ये चुनाव उनके लिए राजनीतिक और भावनात्मक दोनों रूप से काफी अहम है। यह पहला मौका है जब रामविलास पासवान की गैरहाजिरी में न केवल वे अपनी पार्टी का नेतृत्व कर रहे हैं, बल्कि अपने पिता की विरासत को भी बचाने में भी जुटे हैं।
हाजीपुर के अलग-अलग इलाकों में घूमने के बाद यहां के लोगों को समझने और एक्सपर्ट की राय जानने के बाद ये जो बातें समझ आती हैं कि उसके हिसाब से चिराग पासवान यहां की रेस में सबसे आगे हैं। तेजस्वी और लालू प्रसाद यादव की नीतियों ने मुकाबला जरूर रोचक बना दिया हो, लेकिन चिराग पासवान जीतते हुए दिखाई दे रहे हैं। जमीन पर इसके तीन कारण हैं।
मोदी और रामविलास के चेहरे का सपोर्ट
चिराग पासवान हमेशा से खुद को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हनुमान कहते आ रहे हैं। हाजीपुर में जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रैली हुई तो उन्होंने चिराग पासवान को न केवल अपना बेटा बताया बल्कि जमीन से जुड़ा हुआ इंसान भी बताया।
चुनाव में इसका सीधा फायदा चिराग पासवान को मिलता हुआ दिखाई दे रहा है। एक तो गठबंधन दूसरा मोदी की सभा के बाद हर वर्ग के लोग चिराग पासवान के पक्ष में खड़े दिखाई दे रहे हैं।
इसके अलावा पिता रामविलास पासवान के कारण भी लोगों के मन में उनके प्रति सहानुभूति है। लोग ये कहते हुए आसानी से मिल जाते हैं कि रामविलास पासवान ने हाजीपुर के लिए बहुत कुछ किया है। पहली बार उनका बेटा मैदान में है तो हम उन्हें सपोर्ट करेंगे।
श्रवण भगत पेशे से मजदूर हैं। कहते हैं कि हम तो हेलिकॉप्टर छाप हैं। हमारी अपनी चॉइस है। रामविलास पासवान 1971 से हम लोगों के बीच हैं। जैसे रामविलास पासवान जीते हैं, वैसे ही चिराग पासवान जीतेंगे।
चिराग के पक्ष में ज्यादातर जातियों की गोलबंदी
चिराग पासवान ने अपने नॉमिनेशन के दौरान ये मैसेज देने की कोशिश की थी कि उनके साथ AtoZ जातियां खड़ी हैं। उनके इस मैसेज का असर जमीन पर भी दिखाई दे रहा है। दलित खासकर पासवान जहां पहले ही मजबूती से चिराग पासवान के साथ खड़े हैं।
बीजेपी के कारण सवर्ण और वैश्य वोटर्स का सपोर्ट भी चिराग पासवान को मिल रहा है। वहीं, नीतीश कुमार और उपेंद्र कुशवाहा का भी भरपूर सपोर्ट यहां चिराग पासवान को मिल रहा है।
हालांकि, दूसरी तरफ तेजस्वी यादव के साथ यादव और मुस्लिम जरूर एकजुट हैं, लेकिन जातियों की इस गोलबंदी में यहां चिराग पासवान बाजी मारते हुए दिखाई दे रहे हैं। कुछ हद तक यादव भी चिराग पासवान को सपोर्ट कर रहे हैं।
जाति की बाउंड्री तोड़कर युवा चिराग के साथ हैं
हाजीपुर में चिराग पासवान को युवाओं का भी भरपूर सपोर्ट मिल रहा है। चिराग को लेकर यहां युवाओं में उत्साह राज्य के अन्य हिस्सों से बिल्कुल अलग है। यहां कास्ट लाइन से अलग हटकर इस बार युवा उन्हें यहां अपना समर्थन दे रहे हैं।
ये उनके वादों और दावों पर यकीन कर रहे हैं। हाजीपुर रेलवे स्टेशन पर ऐसे ही एक रोहित से हमारी मुलाकात हुई । ग्रेजुएशन की पढ़ाई कर रहे रोहित ने कहा कि युवा चिराग के साथ हैं।
सुजीत जाति से कुशवाहा और पेशे से ड्राइवर हैं। इसी के सहारे वे अपने परिवार के 10 लोगों का भरण-पोषण करते हैं। कहते हैं कि चिराग पासवान ही हमारे नेता हैं। हमें नेता चुनना है, रिश्तेदारी नहीं निभानी है। चिराग पासवान में मुझे नेता नजर आता है इसलिए हम उन्हें वोट देंगे।
क्या कहते हैं पॉलिटिकल एक्सपर्ट हाजीपुर में हर दिशा से बह रही है हवा, मुकाबला दिलचस्प होगा
वरिष्ठ पत्रकार रविशंकर शुक्ला कहते हैं कि इस बार हाजीपुर में चारों दिशा से हवा चल रही है। शिवचंद्र राम और चिराग पासवान में आमने-सामने की लड़ाई है। जैसे-जैसे चुनाव नजदीक आ रहा है मुकाबला रोचक होते जा रहा है।
बेहद कम अंतर से होगी जीत-हार
सीनियर जर्नलिस्ट ज्योति कुमार कहते हैं कि शुरुआती समय में हवा का रुख पूरी तरह से चिराग पासवान के पक्ष में था। टिकट बंटवारे के बाद धीरे-धीरे वोटों का बिखराव होना शुरू हो गया। मौजूदा तस्वीर देखें तो मुकाबला दिलचस्प हो गया है। हार-जीत बेहद कम अंतर से होने वाली है। कोई भी जीतेगा बहुत कम वोट से जीतेगा।